उत्तराखंड देश

पलायन पर घडियाली आंसू बहाने के बजाय पलायन रोकने के लिये राज्य गठन की जनांकांक्षायें राजधानी गैरसैंण, भू कानून व मूल निवास आदि को ईमानदारी से साकार करें उतराखण्ड के मुख्यमंत्री धामी

मुख्यमंत्री धामी ने पौडी में ’क्यों होता है गांव से पलायन’ विषय पर एनसीसी व विद्यालयी छात्रों को किया संबोधित

 

प्यारा उतराखण्ड डाट काम

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सोमवार 13 फरवरी  को विकास भवन, पौड़ी में एन०सी०सी० कैडेट्स व अन्य प्रतिभाशाली स्कूली छात्र-छात्राओं के साथ “क्यों होता है गाँव से पलायन“ विषय पर संवाद कार्यक्रम में प्रतिभाग किया। इस अवसर पर उन्होंने मेधावी छात्र-छात्राओं को सम्मानित भी किया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने जहां राज्य में तेजी से हो रहे पलायन पर चिता प्रकट करते हुये इसे रोकने के लिये अपने सरकार के अनैक योजनाओं का बखान करते हुये युवाओं को आश्वस्त किया कि इन योजनाओं से प्रदेश में पलायन रूकेगा।
मुख्यमंत्री के इस बयान पर तीब्र प्रतिक्रिया करते हुये उत्तराखड राज्य गठन आंदोलन के अग्रणी आंदोलनकारी देवसिंह रावत ने कहा कि यह दुर्भाग्य कि बात है कि राज्य गठन के 23 सालों से प्रदेश में सत्तासीन रहे वर्तमान मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी सहित सभी मुख्यमंत्री व उनकी सरकारें पलायन सहित राज्य की दुर्दशा पर घडियाली आंसू बहाते रहे। परन्तु पलायन सहित प्रदेश की समस्याओं का निदान करने के बजाय प्रदेश की सरकारें अपनी पदलोलुपता, दिशाहिनता व दलीय स्वार्थ में लिप्त हो कर प्रदेश की इस समस्याओं का समाधान करने के बजाय उनको बढाने का कार्य ही करते रहे। अगर प्रदेश के मुख्यमंत्री पलायन पर अंकुश लगाने के लिये जरा सी भी ईमानदारी से अपने दायित्वों का निर्वहन करते तो वे सबसे पहले राज्य गठन की राजधानी गैरसैंण बनाने, मुजफ्फरनगर काण्ड के गुनाहगारों को सजा दिलाने, हिमाचल की तर्ज पर भू कानून बनाने, मूल निवास, जनसंख्या पर आधारित विधानसभा क्षेत्र परिसीमन पर अंकुश लगाने, तीर्थाटन सहित रोजगार परक  जनांकांक्षाओं को साकार करने का काम करते। परन्तु वर्तमान सरकार सहित पूर्व सरकारों ने जो शासन थोपा, उससे जनांकांक्षाओं को निर्ममता से रौंदा गया,जिसके दुष्परिणाम पर्वतीय सीमांत जनपदों से भारी पलायन से देश की सुरक्षा खतरे में पड गयी, हल्द्वानी व देहरादून जैसी समस्यायें अवैध बसावत की बिकराल हो गयी, जोशीमठ जैसी त्रासदी से पर्यावरण व उतराखण्ड विरोधी अंधाधुंध विकास बेनकाब हो गया, अंकिता भण्डारी हत्याकाण्ड से शासन का रावणी चरित्र बेनकाब हो गया तथा अब तक के मुख्यमंत्रियों, विधानसभाध्यक्षों, नौकरशाहो द्वारा प्रदेश के युवाओं को रोजगार देने के बजाय अपने प्यादों को सरकारी नौकरियों की बंदरबांट व धांधलियों से आम जनमानस स्तब्ध है। इसी सप्ताह इन भर्ती धांधलियों की निष्पक्ष जांच केंद्रीय जांच व्यूरों से करने की मांग को लेकर प्रदेश के बेरोजगारों से न्याय करने के बजाय पुलिसिया दमन से लोकशाही का गला घोंटा गया। इन सब प्रकरणों से प्रदेश की आम जनता न केवल प्रदेश सरकार से आहत है अपितु इस निर्मम जनविरोधी सरकार पर अंकुश न लगाने के लिये उतराखण्ड की जनता से जनादेश की गुहार लगाने वाले देश  के प्रधानमंत्री मोदी की मूकता से आम जनमानस स्तब्ध है। उन्हे विश्वास नहीं हो रहा है कि डब्बल इंजन की उतराखण्ड सरकार, मुलायम सरकार की तरह उतराखण्ड की जनांकांक्षाओं व सम्मान के साथ लोकशाही को क्यों रौंद रही है? लोग मोदी जी से यही प्रश्न कर रहे है। श्री रावत ने कहा कि श्री धामी पूर्ववती सरकार की तरह सत्तालोलुपता छोड कर ईमानदारी से राज्य गठन की जनांकांक्षाओं को साकार करे तभी प्रदेश में पलायन पर भी अंकुश लगेगा और प्रदेश का चहुमुखी विकास भी होगा।
गौरतलब है कि आज पौडी में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने छात्रों को संबोधित करते हुये कहा कि  उत्तराखंड राज्य के लिए पलायन एक बड़ी चिंता का विषय है। कई गांव का खाली होना राज्य एवं देश की सुरक्षा के लिए खतरा भी है। उन्होंने कहा राज्य सरकार बड़े स्तर पर रिवर्स माइग्रेशन पर कार्य कर रही है। केंद्र एवं राज्य सरकार की विभिन्न योजनाओं से लोगों को रोजगार एवं स्वरोजगार प्रदान कर गांव में रोकने का कार्य किया जा रहा है। कोरोना काल में लाखों प्रवासी भाई बहन अपने गांव आए। सरकार के लिए उन्हें स्वरोजगार से जोड़ना एक बड़ा अवसर था। कोरोना काल में कई युवाओं ने स्वरोजगार को अपनाया। आज वही युवा कई अन्य लोगों को भी रोजगार देने का कार्य कर रहे हैं। सरकारी एवं जनता के बीच आपसी समन्वय एवं सहभागिता से पलायन रुकेगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि लोगों का रुझान लगातार होम स्टे की ओर बढ़ रहा है। राज्य सरकार होम स्टे को लगातार बढ़ावा देने का कार्य कर रही है। विभिन्न योजनाओं के अंतर्गत स्वयं सहायता समूह को ऋण वितरित किया जा रहा है। आज महिलाएं भी आत्मनिर्भर बन गांव से पलायन रोकने में अपनी अहम भूमिका निभा रही है।  हमारा राज्य संभावनाओं से भरा हुआ है। इन संभावनाओं को हम प्रयास एवं परिश्रम से खोज सकते हैं, जिससे पलायन रुकेगा एवं लोगों को आर्थिक फायदा भी होगा। उन्होंने कहा हमारे युवा वर्ग को सरकार द्वारा चलाई जा रही विभिन्न जन कल्याणकारी योजनाओं से अवगत होना चाहिए। उन्होंने जिला अधिकारी को निर्देश देते हुए कहा कि जिले में युवाओं को सरकारी योजनाओं के प्रति जागरूक करने के लिए विशेष कैंपों का आयोजन किया जाए।

मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि इस बार उत्तराखंड की झांकी “मानसखंड“ को गणतंत्र दिवस परेड में प्रथम स्थान प्राप्त हुआ है। उन्होंने कहा एन.सी.सी से हमें सेना के जैसा अनुशासन एवं साहस सीखने को मिलता है। एन.सी.सी जवान हर मोर्चे पर अपने तन मन के साथ खड़े रहते हैं। देश के अंदर आने वाले हर संकट में एनसीसी हमेशा आगे रहती है। उन्होंने कहा जीवन में शिक्षा प्राप्त करने का समय अमूल्य होता है। हमें अपने विद्यार्थी काल में पूरे मनोयोग से कार्य करना चाहिए। यदि संकल्प लेकर आगे बढ़ा जाए तो सपने जरूर साकार होते हैं।

उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश निरंतर आगे बढ़ रहा है। आज देश का मान सम्मान स्वाभिमान पूरे विश्व में बड़ा है। प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व में हमें जी – 20 की अध्यक्षता करने का मौका मिला है। हम सभी उत्तराखण्डवासियों के लिए गौरव की बात है कि हमारे प्रदेश में ळ-20 की दो बैठकें आयोजित होने वाली हैं। जी 20 देशों के साथ अन्य 9 देश एवं 15 अंतरराष्ट्रीय संगठन भी भारत आ रहे हैं। उन्होंने कहा राज्य सरकार विकल्प रहित संकल्प के देह वाक्य के साथ उत्तराखंड को सर्वश्रेष्ठ राज्य बनाने की ओर आगे बढ़ रही है।

इस अवसर पर कैबिनेट मंत्री डॉ. धन सिंह रावत, जिला पंचायत अध्यक्ष शान्ति देवी, विधायक पौड़ी राजकुमार पौरी, विधायक यमकेश्वर श्रीमती रेनू बिष्ट, गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष प. राजेन्द्र अंथवाल, सदस्य पलायन आयोग वीरेंद्र सिंह रावत, जिलाधिकारी पौडी डॉ.आशीष चैहान, भाजपा जिला अध्यक्ष सुषमा रावत एवं अन्य लोग मौजूद रहे।

About the author

pyarauttarakhand5