दुनिया

अफगानिस्तान व ईरान के साथ मिल कर पाकिस्तान में आतंकी अड्डों पर तुरंत सांझे हमला कर तबाह करे भारत

पाकिस्तानी आतंक को शर्मनाक संरक्षण देने वाले अमेरिका व चीन से ही नहीं अमेरिका के प्यादे संयुक्त राष्ट्र से भी आशा न रखें

देवसिंह रावत

पाकिस्तान एक तरफ भारत में कश्मीर सहित अनैक राज्यों में आतंकियों की घुसपेट कर निरंतर हमला करके देश की अमन चैन को तबाह किये हुए है। वहीं दूसरी तरफ पाकिस्तान द्वारा आतंकियों को संरक्षण, पोषण करके अफगानिस्तान को आतंक से छलनी करने से बेहाल अफगानिस्तान द्वारा बार बार विरोध करने पर जब पाकिस्तान अपने नापाक हरकतों से बाज नहीं आया तो अफगानिस्तान की सीमा पर अफगानिस्तान सुरक्षा बलों व पाकिस्तानी सेना में जबरदस्त गोलाबारी हुई। पाकिस्तान 50 अफगानिस्तान सेना के जवानों को मारने का दावा कर रहा है। यही नहीं पाकिस्तान केवल भारत व अफगानिस्तान में ही आतंकी गतिविधियों फेला रहा है अपितु वह ईरान में भी निरंतर आतंकी गतिविधियों में शामिल है। पिछले सप्ताह पाकिस्तानी आतंकियों ने ईरान के  सिस्तान और बलूचिस्तान में ईरान के 10 सीमा सुरक्षाबलों को मौत के घाट उतार दिया । ईरान ने इससे आक्रोशित हो कर पाकिस्तान के अंदर घुस कर पाक के आतंकी ठिकानों को तबाह करने की खुली चेतावनी दी।
सुन्नी मुस्लिम बाहुल्य पाकिस्तान के सुन्नी आतंकी संगठन दशकों से शिया बाहुल्य ईरान में आतंक फेलाते रहते है। ईरान ने ताजा हमले के लिए पाक द्वारा संरक्षित सुन्नी आतंकी संगठन जैश अल अदल को जिम्मेदार  माना।  जैश अल अदल 2013 और 2015 में भी ईरान के सीमा सुरक्षा बल पर हमला करने का दुशाहस कर चूका है।
भारत में तो पाकिस्तानी आतंकियों ने संसद से लेकर पठानकोट वायुसेना, मुम्बई, भारत के तमाम शहरों पर हमला कर चूका है। कश्मीर में पाकिस्तान ने आतंक का कहर ढाया हुआ है। भारत सरकार केवल निंदा व कोरी चेतावनी दे कर अपना दायित्व इति समझ रही है। भारत की सरकारों को इतनी हिम्मत तक नहीं जुटा पा रही है कि वह पाकिस्तान से मित्र राष्ट्र का दर्जा हटा कर उसे शत्रु राष्ट्र घोषित कर उससे सभी सम्बंध तोड़ कर आतंक पर अंकुश लगाये। अफगानिस्तान तो आतंकी पाक द्वारा दिये जख्मों से कई दशकों तक उबर नहीं सकता है।
पाकिस्तानी आतंक से पीड़ित भारत, अफगान व ईरान जैसे तीनों देशों को संयुक्त राष्ट्र या अमेरिका, चीन व रूस की तरफ मदद की इंतजारी में समय नष्ट न करके आतंकीस्तान बन चूके पाक पर समय गंवाये बिना तुरंत सांझा हमला करना चाहिए। इन तीनों देशों को समझना चाहिए कि अमेरिका व चीन दोनों ही देश अपने संकीर्ण स्वार्थो व बर्चस्व बनाये रखने के लिए प्यादे की तरह आतंकी पाक को संरक्षण दे कर विश्व के अमन चैन को नष्ट कर रहे है। संयुक्त राष्ट्र एक प्रकार से अमेरिका के इशारे के बिना एक कदम भी उठाने की हिम्मत नहीं है।
ऐसा नहीं है अमेरिका व चीन इस बात से बेखबर हैं कि पाकिस्तान विश्व में आतंकीस्तान बन कर अमन चैन को नष्ट कर रहा है। खुद अमेरिका को तबाह करने वाला अमेरिका द्वारा पाला पोषा आतंकी सरगना ओसमा बिन लादेन व तालिबान को कहीं अमेरिका ने संरक्षण दिलाया था तो वह पाकिस्तान ही है। पाकिस्तान में सेना हो या आतंकी या राजनैतिक दल पूरे तंत्र में अमेरिका का शिकंजा कसा है। परन्तु अमेरिका सबकुछ मालुम हो कर भी आतंक की माॅं बन चूके पाक को संरक्षण देने जारी रखे हुए है। नहीं तो क्या मजाल है पाकिस्तान के आतंकी अड्डो को अमेरिका ध्वस्थ नहीं कर रहा है। ऐसी ही स्थिति चीन की है। चीन के पाक से लगे प्रांत में आतंकी गतिविधियों को पाक के आतंकी ही संचालित करते है। परन्तु चीन भी भारत पर अंकुश लगाने के लिए पाक को न केवल शर्मनाक संरक्षण दे रहा है अपितु वह संयुक्त राष्ट्र संघ में भी पाकिस्तानी आतंकियों पर लगने वाले प्रतिबंध का खुला विरोध तक करता है। यही नहीं चीन अब पाकिस्तान की सुरक्षा का ठेका यानी सुरक्षा छाता भी दे चूका है। यानी कोई भी देश पाक पर हमला करेगा तो चीन पाक की रक्षा के लिए उस युद्ध में उतरेगा। पहलेे यह ठेका अमेरिका ने लिया हुआ था। अब कुछ समय से अमेरिका ने जब दूरियां बनायी तो चीन ने पाक को संरक्षण दे दिया है। पाकिस्तान केवल भारत, अफगानिस्तान व ईरान में ही आतंक नहीं फैला रहा है। वह चीन, अमेरिका, रूस, चैचन्या, सीरिया, बंगलादेश, नेपाल, टर्की, इराक, मिश्र, सुड़ान, लीबिया, अफ्रीका, यूरोप ही नहीं आस्ट्रेलिया सहिंत पूरे विश्व में आतंकियों को भेज कर विश्व शांति को तबाह कर रहा है। परन्तु क्या मजाल अमेरिका व चीन या विश्व संस्था उस पर प्रतिबंध लगाने के लिए ठोस कदम उठाये। उल्टा अमेरिका व चीन दोनों पाकिस्तान को आर्थिक व सामरिक मदद देने के साथ विश्वघाती संरक्षण भी दे रहे है। सउदी अरब भी आतंकी पाक का अंधा समर्थन करके विश्व की शांति को तबाह कर रहा है। भले ही इस्लाम के नाम पर आतंक फेला रहे पाक का इस्लामी मुखौटा अफगानिस्तान व ईरान जैसे इस्लामी देश ही बेनकाब कर रहे है।
पाकिस्तानी आतंक से दशकों से पीड़ित भारत, अफगानिस्तान व ईरान को अगर आतंक के सफाया करने के लिए ईमानदार है तो उन्हें बिना समय गंवाये तुरंत पाकिस्तानी आतंकी अड़डो को सफाया करने के लिए सांझा हमला कर अपनी व विश्व की रक्षा करनी चाहिए।

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